बड़गड़: बूढ़ा पहाड़ में जिला प्रशासन व सीआरपीएफ खींच रहा विकास की लंबी लकीर

बूढ़ा पहाड़ सीआरपीएफ कैंप परिसर में अस्थाई स्कूल चलाकर शिक्षित करने का कार्य

बड़गड़(घनश्याम सोनी): एक दशक से माओवादियों के प्रभाव क्षेत्र में रहा गढ़वा जिले का भंडरिया थाना अंतर्गत बड़गड़ प्रखंड का बूढ़ा पहाड़ गांव नक्सली मुक्त होने के बाद से यहां जिला प्रशासन एवं सीआरपीएफ 172 बटालियन के सहयोग से विकास की लंबी लकीर खींचने का कार्य अनवरत जारी है. राज्य सरकार द्वारा बीपीडीपी योजना के तहत उक्त दुर्गम क्षेत्रों में सड़क के साथ-साथ स्वास्थ्य, शिक्षा सहित अन्य विकास कार्य को धरातल पर उतारने का प्रयास जारी है वहीं बूढ़ा पहाड़ जैसे दुर्गम क्षेत्रों में रहने वाले विभिन्न गांव के ग्रामीणों को सीआरपीएफ 172 बटालियन के जवानों द्वारा सुरक्षा के साथ-साथ उनके बेहतर भविष्य निर्माण को लेकर तरह-तरह के सहयोगात्मक कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं. सीआरपीएफ 172 बटालियन के कमांडेंट नृपेंद्र कुमार सिंह के मार्गदर्शन में बूढ़ा पहाड़ से लगे बूढ़ा गांव, थलिया, झालूडेरा, पुनदाग आदि गांव में रहने वाले ग्रामीणों के छोटे-छोटे बच्चों को पिछले 1 वर्षों से निशुल्क शिक्षा अभियान के तहत बूढ़ा पहाड़ सीआरपीएफ कैंप परिसर में अस्थाई स्कूल चलाकर शिक्षित करने का कार्य किया जा रहा है. सीआरपीएफ द्वारा संचालित निशुल्क शिक्षा अभियान का लाभ यहां के आदिम जनजाति परिवारों के बच्चों सहित अन्य गरीब परिवार के बच्चे भी उठा रहे हैं. सीआरपीएफ द्वारा चलाए जा रहे निशुल्क पाठशाला में उपरोक्त गांव के लगभग 70 से 80 बच्चे प्रतिदिन पहुंचकर शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं. उक्त पाठशाला में सीआरपीएफ के जवान मेजर दिवाकर सिंह के अलावा अन्य जवान भी बच्चों को प्रारंभिक शिक्षा के साथ-साथ अन्य गतिविधि जैसे खेलकूद, योगा स्वच्छता एवं स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता के अलावा आज के विकसित भारत का डिजिटल दुनिया से भी अवगत कराने का कार्य किया जा रहा है. उक्त अभावग्रस्त बूढ़ा पहाड़ क्षेत्र के बच्चे आज सीआरपीएफ के सहयोग से कंप्यूटर, मोबाइल के माध्यम से देश दुनिया में हो रहे विभिन्न गतिविधियों से अवगत हो रहे हैं, कभी नक्सलियों के रहमों करम पर जीने वाले ग्रामीणों के बच्चे आज सीआरपीएफ के सहयोग से उच्च शिक्षा ग्रहण करने की लालसा लिए देश सेवा में अपनी भूमिका निभाने को आतुर है निशुल्क पाठशाला में पढ़ने वाले बच्चे आज सीआरपीएफ के जवानों के बदौलत फराटे दार हिंदी एवं अंग्रेजी बोलने एवं लिखने में निपुण हो रहें हैं. निशुल्क पाठशाला के संबंध में मुलाकात के दौरान सहायक कमांडेंट हर्ष गौतम मस्के एवं अमरेंद्र कुमार सिंह ने बताया कि यहां पढ़ने वाले सभी बच्चों को भोजन के साथ-साथ ड्रेस एवं पढ़ाई की सभी सामग्री निशुल्क उपलब्ध कराई गई है. बूढ़ा पहाड़ को विगत वर्ष नक्सलियों के कब्जे से मुक्त कराने के बाद सीआरपीएफ कैंप स्थापित होने पर यहां चल रहे निर्माण कार्य में यहां के ग्रामीण महिला पुरुष मजदूर के रूप में कार्य किया करते थे तब उनके बच्चे कैंप परिसर में इधर-उधर खेलते – कुदते रहते थे, यह देख कमांडेंट नृपेंद्र कुमार सिंह से इन बच्चों को शिक्षित बनाने को लेकर मार्गदर्शन मिला, इसके पश्चात हमारी सीआरपीएफ 172 बटालियन बच्चों को बेहतर शिक्षा देने का लगातार कार्य कर रही हैं.

सीआरपीएफ के पहल की डीसी एवं एसपी की सराहना

मतदाता जागरूकता कार्यक्रम को लेकर शनिवार को बूढ़ा पहाड़ पहुंचे जिले के उपायुक्त शेखर जमुआर एवं पुलिस अधीक्षक दीपक कुमार पांडे ने सीआरपीएफ द्वारा संचालित निशुल्क शिक्षा अभियान के तहत पाठशाला में पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं से मिल उनकी शैक्षणिक गतिविधियों से अवगत हुए. पाठशाला में पढ़ने वाले बच्चे उपायुक्त एवं पुलिस अधीक्षक के समक्ष पाठशाला से प्राप्त हुए शिक्षा व अन्य गतिविधियों को बता कर साझा किया. दोनों पदाधिकारियों ने सीआरपीएफ के इस पहल की सराहना करते हुए पाठशाला में पढ़ने वाले बच्चों के उज्जवल भविष्य कि कामना की.

Mukesh Tiwari
Author: Mukesh Tiwari

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