गढ़वा: रमकंडा में चयन का विरोध कर रहे थे ग्रामीण, हंगामे के बाद ग्रामसभा का बहिस्कार
रमकंडा: गुरूवार को रमकंडा प्रखंड के उदयपुर पंचायत भवन में स्वयंसेवक मनीता कुमारी का पंचायत सहायक के रूप में चयन का विरोध करने पर आयोजित ग्रामसभा हंगामे की भेंट चढ़ गई. वहीँ हंगामे के बाद ग्रामसभा का बहिस्कार करते हुए अधिकांश ग्रामीण वापस चले गए. ऐसे में पर्यवेक्षक अरुण यादव ने ग्रामसभा स्थगित कर दी. पूछे जाने पर उन्होंने कहा की हंगामे व विरोध के बाद ग्रामसभा की कारवाई पूरी करना उचित नहीं है. जानकारी के अनुसार स्वयंसेवक मनीता का पंचायत सहायक के रूप में चयन को लेकर ग्राम सभा आयोजित की गयी.
ग्रामसभा में पहुंचे ग्रामीणों ने कहा की कुछ माह पहले इसी मामले पर हुए ग्रामसभा में पंचायत सहायक के रूप में मनीता का चयन नहीं करने का प्रस्ताव पारित कर विभाग को रिपोर्ट भेजी गयी है. ऐसे में दूसरी बार इसी विषय पर ग्रामसभा कराना अधिकारीयों पर भी सवाल खड़ा कर रहा है. ग्रामीणों ने कहा की बावजूद ग्रामसभा आयोजित हुई है तो दूसरी बार भी मनीता का चयन नहीं किया जायेगा. चयन नहीं किये जाने की ग्रामीणों की मंशा व ग्रामसभा में विरोध के बाद स्वयसेवक मनीता के पक्ष के लोगों व विरोध कर रहे लोगों के बीच किसी बात को लेकर ग्राम सभा में बहस हो गई. वहीँ अशोभनीय शब्द का प्रयोग होने पर ग्रामीण आक्रोशित हो गए. जिसके बाद ग्रामसभा का बहिस्कार करते हुए ग्रामीण वापस चले गए.
शुरूआती दौर में भी वापस जाने लगे थे ग्रामीण
ग्रामसभा की कारवाई शुरू होने के कुछ देर बाद ग्रामीण ग्रामसभा छोड़ वापस जाने लगे थे. लेकिन मुखिया व अन्य के कहने पर ग्रामीण वापस लौटे. इसके बाद पुनः कारवाई शुरू हुई. इस दौरान भी चयन का विरोध कर लोग वापस जाने लगे थे. ग्रामीणों का कहना था की काम नहीं करने वाले स्वयंसेवक का उन्होंने चयन नहीं करने का प्रस्ताव पारित कर पहले ही विभाग को भेज दिया है. वहीँ आज भी उक्त स्वयंसेवक का चयन नहीं किये जाने की बात ग्रामसभा में ग्रामीणों ने कही है. लेकिन चयन किये जाने को लेकर अप्रत्यक्ष रूप से दबाव दिए जाने वाली स्थिति में ग्रामसभा में रहना उचित नहीं है.
उल्लेखनीय है कि विभागीय निर्देश के बाद इस मामले को लेकर पूर्व में भी ग्रामसभा आयोजित हुई थी. वहीं ग्रामसभा ने क्षेत्र में सक्रिय रूप से काम करने वाले तीन स्वयंसेवकों का पंचायत सहायक के रूप में चयन का प्रस्ताव पारित करते हुए विभाग को रिपोर्ट भेज दी थी. लेकिन स्वयंसेवक मनीता का चयन करने से ग्राम सभा की ओर से इनकार के बाद उसने जिला पंचायती राज पदाधिकारी से इसकी शिकायत की. जिसके बाद डीपीआरओ ने पुनः ग्रामसभा कर मनीता का पंचायत सहायक के रूप में चयन करने का निर्देश दिया. लेकिन ग्रामसभा ने दूसरी बार भी मनीता का चयन करने से इनकार कर दिया.
ये थे उपस्थित: ग्रामसभा में पर्यवेक्षक के रूप में नियुक्त राजस्व उपनिरीक्षक अरुण यादव, पंचायत सचिव भुनेश्वर सिंह, मुखिया शकुंतला देवी, रोजगार सेवक राजेश कुमार, बीससूत्री अध्यक्ष राजकिशोर यादव, बीडीसी रूपम देवी, उपमुखिया रंजू देवी, भाजपा नेता प्रेम यादव, जयप्रकाश यादव, वशिष्ट यादव, रामसेवक सिंह, रमन विश्वकर्मा, सहित सैकड़ों ग्रामीण मौजुद थे.
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